इक्विटी ट्रेडिंग टिप्स: आसमान पर सब्जियों के दाम, मिलेगी राहत!

सब्जियों की कीमतों में लगी आग बुझने का नाम नहीं ले रही है। लोगों को ठंड के मौसम में सस्ती हरी सब्जियों का इंतजार रहता है लेकिन इस बार मामला उल्टा है। 1 महीने से सब्जियों के दाम जो आसमान पर चढ़े हैं उतरने का नाम ही नहीं ले रहे हैं। कई हिस्सों में बेमौसम बारिश के कारण सब्जियों की आवक कम हो रही है जिससे कीमतें आसमान पर हैं। हरी सब्जियों के साथ ही प्याज, टमाटर की कीमतों में जोरदार बढ़ोतरी देखने को मिली। जिसने आम लोगों के किचन का बजट बिगाड़ कर रख दिया। आम लोगों को महंगी सब्जियों से जल्द राहत मिलेगी या फिर लंबे समय तक उन जेब पर बोझ बना रहेगा।

दक्षिणी भारत, महाराष्ट्र में बेमौसम बारिश से सब्जियों के दाम बढ़ोतरी हुई है जिसका असर दिल्ली एनसीआर, मुंबई, हैदराबाद, जैसे कई शहरों में देखने को मिला है। लेकिन मुंबई के बाहरी इलाकों में कुछ सब्जियों के दाम गिरावट आई है। आरएमएल की रिपोर्ट के मुताबिक इस साल सब्जियों का उत्पादन 1762 लाख टन रहने का अनुमान है। पिछले साल देश में सब्जियों का कुल उत्पादन 1690 टन रहा था।

बता दें कि बेमौसम बारिश से बड़े शहरों टमाटर सहित प्याज की सप्लाई आधी हुई है। देश में टमाटर की आवक 22 अक्टूबर को 60 हजार टन थी। 1 हफ्ते में टमाटर की आवक 20 हजार टन गिरी है। वहीं प्याज का उत्पादन 217 लाख टन रहने का अनुमान है। पिछले साल से 8 लाख टन ज्यादा प्याज का उत्पादन हुआ है।

1 महीने पहले सब्जियों की कीमतों पर नजर डालें तो 80 रुपये प्रति किलो मिलनेवाली गोभी की कीमत 100 रुपये में मिल रही है जबकि 50 रुपये प्रति किलो मिलनेवाली शिमला मिर्च की कीमत 70 रुपये, 80 रुपये प्रति किलो मिलनेवाली तुरई की कीमत 60 रुपये, 49 रुपये में मिलनेवाला मटर की कीमत 200 रुपये, 40 रुपये प्रति किलो मिलनेवाला गाजर की कीमत 60 रुपये हो गई है।

कमोडिटी मार्किट टिप्स के लिए क्लिक करें >> http://www.ripplesadvisory.com/services.php.

You May Also Like

0 comments

Note: only a member of this blog may post a comment.